जय गुरु देव
समय का जगाया हुआ नाम जयगुरुदेव मुसीबत में बोलने से जान माल की रक्षा होगी ।
परम सन्त बाबा उमाकान्त जी महाराज, उज्जैन (मध्य प्रदेश)
बूढ़े आदमी की खुशी का राज (Boodhe Aadami Kee Khushee Ka Raaj)

किसी गाँव में एक बूढ़ा आदमी रहता था। वह दुनिया के सबसे दुर्भाग्यशाली लोगों में से एक थे। पूरा गाँव उससे परेशान था। वह हमेशा उदास रहता था, वह लगातार शिकायत करता था और हमेशा बुरे मूड में रहता था।

उम्र बढ़ने के साथ उसके शब्द ओर जहरीले होते जा रहे थे। लोग उससे बचते थे, क्योंकि उसकी शक्ल देखते ही खुद का मूड भी खराब हो जाता था।

लेकिन एक दिन, जब वह अस्सी साल का हो गया, तो एक अविश्वसनीय बात हुई। लोगो को ये सुनने में आया कि-

“बूढ़ा आदमी आज खुश है, वह किसी भी चीज के बारे में शिकायत नहीं कर रहा है, मुस्करा रहा है, और यहां तक ​​कि उसका चेहरा भी चमक रहा है।”

पूरा गाँव इकट्ठा हो गया। सभी इस बदलाव के पीछे के कारण को जानने के इच्छुक थे

ग्रामीणों ने बूढ़े आदमी से पूछा,”बाबा आपको ये क्या हो गया। आपमें इतना बदलाव कैसे आया।”

बूढ़ा आदमी बोला, “कुछ खास नहीं। अस्सी साल तक मैं हर चीज़ को ठीक करने में लगा रहा, हर वक्त खुशी ढूंढने के पीछे भाग रहा था, लेकिन यह बेकार था। और फिर मैंने खुशी के बिना जीने का फैसला किया और वर्तमान जीवन का आनंद लेना शुरू किया हैं। इसीलिए मैं अब खुश हूँ।

कहानी की शिक्षा: खुशी का पीछा मत करो। अपने वर्तमान जीवन का आनंद लो।